टेलीविजन का आविष्कार किसने किया और टेलीविजन क्या है ?

हेल्लो दोस्तों हम आप से बात करेगे टेलीविजन क्या है ? और टेलीविजन का आविष्कार किसने किया ? उमीद है आप को हमारी यहा जानकारी पसंद आएगी तो हमारा यह आर्टिकल जुरूर पढ़े
टेलीविजन क्या है ?
टेलीविजन को हम सभी सामान्यतः एक डिवाइज के रूप में जानते हैं जिसमे हम विभिन्न चैनल्स पर धारावाहिक, फिल्मे, खबरे, रिएलिटी शो और एजुकेशन कंटेंट आदि देख सकते हैं। काफी सारे लोग Television को Tele और Telly के नाम से भी जानते हैं।
अगर थोड़ी तकनीकी भाषा मे टेलीविजन को समझा जाये तो ‘टेलीविजन एक टेलीकम्युनिकेशन मीडियम डिवाइज हैं जिसका उपयोग तस्वीरों और चलचित्रों के साउंड सहित ट्रांसमिशन में किया जाता हैं। टेलीविजन तकनीकी सेटेलाइट और रेडियो तकनीकी पर आधारित हैं।
टेलीविजन को एडवरटाइजिंग, मनोरंजन, न्यूज़ और स्पोर्ट्स को लोगो तक पहुचाने के लिये उपयोग किया जाता हैं। रेडियो के आविष्कार के साथ ही टेलीविजन के आविष्कार की बाते होने लगी थी। लोगो को लगने लगा था की भविष्य में ध्वनि के साथ तस्वीरों को भी देखा जा सकेगा।
बड़े पर्दे पर सिनेमा देखने का मजा अब छोटी स्क्रीन पर हर घर मे लिया जा सकेगा। यह कल्पना वास्तविकता में बदली। एंटरटेनमेंट इंडस्ट्री के विस्तार के साथ टेलीविजन का भी विस्तार होने लगा।
टेलीविजन के आविष्कार के समय कहा जाने लगा था कि अब सिनेमा बन्द हो जाएगा। ऐसा नही हुआ क्योंकि आज भी फिल्मे सिनेमाघरो में अरबो की कमाई तक करती हैं। लेकिन टेलीविजन ने अब हर घर तक सिनेमाघरो को पहुचाया हैं।
टेलीविजन के माध्यम से घर बैठे नई-पुरानी फिल्मे, लेटेस्ट खबरे, शिक्षा सम्बन्धी जानकारिया आदि प्राप्त कर सकते हैं। सेटअप बॉक्स के माध्यम से हम विभिन्न चैनल्स को एक्सेस कर सकते हैं और उन चैनल्स की श्रेणी के अनुसार कॉन्टेंट को एन्जॉय कर सकते हैं।
टेलीविजन का आविष्कार किसने किया था ?
टेलीविज़न का आविष्कार साल दर साल होता रहा है। हर बार एक नयी तकनीक ला कर टीवी को और अच्छा बनाने की कोशिश की गई है।
टेलीविज़न का आविष्कार सर्वप्रथम सन 1925 में जॉन लॉगी बेयर्ड द्वारा किया गया। जॉन ने अपने इस उपकरण का नाम टेलीविज़न नहीं बल्कि टेलीविजन रखा था। जॉन ने टीवी पर कठपुतली की छवि को प्रसारित करके लोगों को दिखाया था। उन्होंने इस कठपुतली का नाम स्टिकी बिल रखा था। बता दें की अपने इस आविष्कार को को बढ़ावा देने के लिए जॉन डेली एक्सप्रेस अखबार के दफ्तर में चले गए थे। जहाँ उनके इस आविष्कार को देख खबर संपादक उस समय डर गया था।
टेलीविजन का अविष्कार कब हुआ ?
रेडियो के आविष्कार के बाद से ही वैज्ञानिकों और विद्वानों ने टेलीविजन की कल्पना शुरू कर दी थी। विद्वानों के जहन में यह बात पहले से थी कि अगर एक कोड में तस्वीरों को एक साथ बनाया जाए और उन्हें तेजी से बदला जाए तो वह चल चित्र बनेगी। यानी कि तस्वीरे असल जिंदगी जैसी लगने लगेगी। कुल मिलाकर इस तरह से तस्वीरों से वीडियोज बनाई जा सकेगी। लेकिन इसकव स्क्रीन में कैसे उतारा जाए, यही समस्या थी।
शुरुआत में छोटी स्क्रीन्स पर इसे उतारा गया और बाद में यह बड़ी स्क्रीन्स तक गयी। सिनेमा का अविष्कार हुआ और लोगो ने इस तकनीकी का फायदा उठाया।
पहले मेकेनिकल टेलीविजन का अविष्कार जॉन लॉगी बेयर्ड ने किया था। जे एल बेयर्ड 25 मार्च 1925 को अपने यंत्र से तस्वीरों को गति में लाकर लन्दन के एक डिपार्टमेंट स्टोर में टेलीविजन को लोगो को सामने लाये। यह एक मेकेनिकल टेलीविजन था। इसके बाद फर्नवर्थ ने 7 सितम्बर 1927 को इलेक्ट्रॉनिक टेलीविजन का अविष्कार किया।
टीवी के आविष्कारकों की संक्षिप्त जानकारी –
जैसे की ऊपर बताया गया टेलीविज़न का आविष्कार साल दर साल और पीड़ी दर पीड़ी होता हुआ आया है। इसकी अलग-अलग तकनीक का आविष्कार यूं तो कई व्यक्तियों द्वारा किया गया है परन्तु मुख्या आविष्कारक जॉन लॉजी बैरर्ड को माना जाता है। बता दें की जॉन को फादर ऑफ टेलीविज़न के नाम से भी जाना था। तो चलिए आपको उनके बारे में थोड़ी और संक्षिप्त जानकारी देते हैं।
सन 1925 में सर्वप्रथम टीवी का आविष्कार करने वाले जॉन लॉजी बैरर्ड का जन्म 13 अगस्त 1988 को हेलेन्सबर्ग (स्कॉटलैंड) में हुआ। जॉन के पिता रेवरेंड जॉन बेयर्ड द चर्च ऑफ स्कॉटलैंड के मिनिस्टर थे। जॉन ने अपनी प्रारंभिक शिक्षा अपने शहर हेलेंसबर्गः के लारचफील्ड अकाडेमी से हासिल की। इसके बाद तकनीकी शिक्षा हासिल करने जॉन स्कॉटलैंड टेक्निकल कॉलेज (यूनिवर्सिटी ऑफ ग्लासगो) चले गए।
तकनीकी पढाई के साथ साथ जॉन ने इंजीनियरिंग अपरेंटिस की नौकरी भी की। तभी प्रथम विश्व युद्ध शुरू हो जाने से उन्हें ब्रिटिश आर्मी की तरफ से युद्ध में हिस्सा लेना पड़ा। इससे उनका डिग्री कोर्स बाधित हो गया और वे स्नातक नहीं हो पाए।
सन 1915 में उन्हें अनफिट होने की वजह से सेना से निकलना पढ़ा। फिर वे वापिस से अपनी तकनीकी क्षेत्र की तरफ लौटते हुए क्लाइड घाटी इलेक्ट्रिकल पावर कंपनी में काम करने लगे। उस समय टेलीविज़न बनाने के लिए विभिन्न लोगों द्वारा प्रयोग जारी थे। इसी कतार में जुड़ते हुए जॉन ने भी अपने प्रयोग जारी रखे और फिर आश्चर्यजनक सफलता हासिल करते हुए सन 1925 में टेलीविज़न का आविष्कार किया।
टेलीविजन को हिंदी में क्या कहते हैं ?
टेलीविजन को हिंदी में ‘दूरदर्शन‘ कहा जाता हैं क्योंकि यह दूर की किसी व्यक्ति या वस्तु की गति करती हुई तस्वीर हमारे सामने प्रस्तुत करता हैं। वास्तव में टेलीविजन की स्क्रीन पर तस्वीरे ही होती हैं जो इतनी तेजी से बदलती हैं कि हमारी आँखों को लगता हैं कि वह गति कर रही हैं। यह गति करती हुई तस्वीरे अब आधुनिक समय के साथ काफी आधुनिक हो गयी हैं।
टेलीविजन के इतिहास से जुड़े रोचक तथ्य –
आज टेलीविजन की खोज हुए 93 वर्ष बीत चुके हैं। इस दरम्यान कितनी ही नई प्रौद्योगिकी आई जो और उन्नत तकनीक के आने से पुरानी होती गई और खत्म हो गई लेकिन, टेलीविजन ही एक ऐसा इलेक्ट्रॉनिक उपकरण है जो बदलते समय की कसौटी पर खरा उतरा है और आज भी पूरी दुनिया में किसी न किसी रूप में अपना स्थान बनाये हुए है।
1. लॉगी बेयर्ड ने टेलीविजन पर पहली बार चित्र प्रसारित किया
लॉगी बेयर्ड बेयर्ड वे पहले इंसान थे जिन्होंने 2 अक्टूबर, 1925 को पहली बार टी.वी. पर एक अलग-अलग आवाज निकालने वाले काठ के पुतले की छवि को प्रसारित करके दुनिया को दिखाया था। जैसा कि आप ऊपर की तस्वीर में देख सकते है
बेयर्ड अपने नये खोज को लेकर इतने उत्साही थे कि इसे दुनिया के सामने लाने के लिए वे सीधे डेली एक्सप्रेस (इंग्लैंड में प्रकाशित होने वाला समाचार पत्र) के ऑफिस पहुंच गए। हालाँकि, वहां का संपादक उन्हें ऐसे उपकरणों के साथ देख काफी डर गया।
2. वास्तव में, एचडी टीवी की शुरुआत 1936 में ही हो गई थी।
टेलीविजन के शुरुआती वर्षों में एचडी टीवी. शब्द 405-लाइन टेलीविजन प्रसारण के लिए किया जाता था, जिसकी शुरुआत इंग्लैंड में 1936 में की गई थी। हालाँकि, उस समय के एचडी टीवी. की अवधारणा की तुलना आज के एचडी टीवी. के पिक्चर क्वालिटी से बिल्कुल नहीं कि जा सकती!
3. द्वितीय विश्व युद्ध में बीबीसी ने 7 वर्षों के लिए प्रसारण बंद कर दिया था।
द्वितीय विश्व युद्ध में इंग्लैंड के जर्मनी पर युद्ध घोषित करने से 2 दिन पहले बीबीसी ने अपना प्रसारण बंद कर दिया था। मिकी माउस कार्टून बीबीसी पर प्रसारित होने वाला अंतिम प्रसारण था।
जब युद्ध खत्म हुआ और लगभग 7 वर्ष बाद 1946 में उसने पुनः प्रसारण प्रारम्भ किया तब BBC पर पहला प्रसारण उसी मिकी माउस कार्टून का ही था!
4. टेस्ट कार्ड गर्ल’ ब्रिटिश टेलीविजन पर सबसे ज्यादा समय तक प्रसारित होने वाली तस्वीर है।
सन् 1967 से लेकर 1998 तक बीबीसी जब भी किसी चैनल पर कोई कार्यक्रम प्रसारित नहीं कर रहा होता था तब हर चैनल पर 8 वर्ष की कॅरोल हेरसी की तस्वीर को एक ब्लैकबोर्ड और गुड्डे के साथ दिखाया जाता था। यह ब्रिटिश टीवी के इतिहास में सबसे अधिक समय तक देखी जाने वाली तस्वीर है।
5. सोनी कंपनी मोबाईल फोन के आकार की टीवी बनाया करती थी।
1980 के दशक में जब पूरी दुनिया बड़े आकार की टीवी सेट को अच्छा मानती थी, वही दूसरी ओर सोनी कंपनी इसके उलट सोचती थी। इस कंपनी ने 1982 में पॉकेट साइज टेलीविजन का निर्माण किया था, जिसका नाम – सोनी वॉचमैन FD-210 था। जिसमें एक 5 सेमी. का डिस्प्ले लगा हुआ करता था। पहली बार ‘टेलीविजन’ शब्द का प्रयोग वर्ष 1900 में रूस के वैज्ञानिक कॉन्स्टेंटिन पर्सकी द्वारा किया गया था।
भारत में टेलीविजन का इतिहास(भारत में दूरदर्शन) –
- हमारे देश में टीवी प्रसारण का आरम्भ 15 सितंबर, 1959 को दिल्ली से हुआ था। इसे एक प्रयोगात्मक प्रसारण के रूप शुरू किया गया था, जिसे एक कम क्षमता वाले ट्रांसमीटर से दिल्ली के ही 21 कम्युनिटी टीवी सेट पर प्रसारित किया जाता था।
- 1959 में इसे ऑल इंडिया रेडियो की निगरानी में शुरू किया गया। जिस पर हर हप्ते एक-एक घंटे के दो कार्यक्रम दिखाये जाते थे। हर दिन 1 घंटे की समाचार-बुलेटिन की शुरूआत 1965 में कि गई।
- मुंबई शहर में दूरदर्शन की शुरुआत 1972 में की गई तथा 1975 तक इसकी पहुंच देश के अन्य प्रमुख शहरों, जैसे – कोलकाता, चेन्नई, श्रीनगर, अमृतसर और लखनऊ तक हो गई।
- 1976 में ‘दूरदर्शन’ को ‘ऑल इंडिया रेडियो’ से अलग कर एक स्वतंत्र प्रसारण संस्था का रूप दे दिया गया । ये आज मुलभूत सुविधाओं, जैसे स्टूडियो और ट्रांसमिटर कि संख्या के आधार पर विश्व की सबसे बड़ी टेलीविजन प्रसारण संस्था है।
- सन् 1982 में दूरदर्शन ने पहली बार 9वें एशियन गेम्स का सीधा प्रसारण उपग्रह इन्सैट 1ए के माध्यम से पूरे देश में किया। यह दूरदर्शन के इतिहास में सबसे बड़ी उपलब्धि थी।
पहला यांत्रिक टेलीविजन का आविष्कार किसने किया ?
पूरी दुनिया में सबसे पहला का आविष्कार स्कॉटिश इंजीनियर जॉन लोगी बेयर्ड ने किया था। उन्होंने से सबसे पहले दुनिया का पहला यांत्रिक टेलीविजन बनाकर प्रदर्शित किया था।
पहला इलेक्ट्रोनिक टेलीविजन का आविष्कार किसने किया ?
पूरी दुनिया में सबसे पहला इलेक्ट्रोनिक टेलीविजन का आविष्कार फिलो टेलर फ़ार्नस्वर्थ ने किया था। उन्होंने पहला टेलीविजन संकेत का ट्रांसमिशन सितंबर 7, 1927 को किया था उनके खुदके स्कैनिंग ट्यूब की मदद से। इसलिए आधिकारिक तौर पर वो ही पहले आविष्कारक थे पहला पूरी तरह कार्यात्मक, पूर्ण-इलेक्ट्रॉनिक टेलीविजन का।
पहला इलेक्ट्रॉनिक रंग टेलीविजन का आविष्कार किसने किया ?
पहला इलेक्ट्रॉनिक रंग टेलीविजन का आविष्कार जॉन लॉजी बैरर्ड ने किया था। उन्होंने पुरे सह लोक में इसका प्रदर्शन भी किया था पहले इलेक्ट्रॉनिक रंगीन टेलीविजन पिक्चर ट्यूब का।
टेलीविजन पर रंगीन चित्र कैसे बनते हैं ?
सीआरटी टेलीविजन स्क्रीन पर तस्वीर और कुछ नहीं बल्कि चमकते बिंदुओं या पिक्सल का पैटर्न है। पिक्सेल फास्फोरस नामक प्रतिदीप्तिशील रसायनों के बने होते हैं, स्क्रीन के पीछे जिसकी परत चढ़ी होती है। ये इलेक्ट्रॉन बीम के टकराते ही चमकने लगते हैं।
ब्लेक वाईट टेलीविजन में, पिक्सेल एक फास्फोरस के बने होते थे और एकल इलेक्ट्रॉन बीम जो तेजी ये स्क्रीन से गुजरती है, द्वारा चमकने लगते हैं। रंगीन टेलीविजन में, यद्यपि प्रत्येक पिक्सेल में तीन फास्फोरस होते हैं और प्रत्येक अलग रंग उत्पन्न करते हैं। हरा, लाल और पीला। तीन इलेक्ट्रॉन गैस द्वारा उत्पन्न तीन इलेक्ट्रॉन बीम विभिन्न फास्फोरस को प्रकाशित करती हैं। पिक्सेल में किस फास्फोरस को प्रकाशित करना है, यह टेलीकास्ट स्टेशन से प्रसारित टी.वी. संकेतों में निहित होता है। स्क्रीन के पीछे शैडो मास्क नामक छिद्रित स्क्रीन यह सुनिश्चित करती है कि इलेक्ट्रॉन बीम केवल विशिष्ट रंग उत्पन्न करने वाले बिंदु तक ही पहुंचे। इन तीन मूल रंगों के विभिन्न संयोजन, अंततः बनी तस्वीर में विभिन्न रंगों का आभास देते हैं।
कितने तरह के टेलीविजन बाजार में हैं उपलब्ध
तकनीकी रूप से अगर बात करें तो आज मुख्यता 5 तरह के टेलीविज़न बाजार में उपलब्ध हैं जो की इस प्रकार हैं –
1.सीआरटी
सीआरटी का फुल फॉर्म कैथोड रे ट्यूब है। इसमें कैथोड रे ट्यूब तकनीक का इस्तेमाल किया गया है इसलिए इसे सीआरटी कहते हैं। यह वैक्यूम ट्यूब एक छवि बनाने के लिए एक स्क्रीन पर इलेक्ट्रॉनों को प्रोजेक्ट करता है।
2.प्लास्मा टीवी
सन 1990 में प्लाज्मा टीवी बनने की शुरुआत हुई थी जबकि इसके टीवी आते-आते अत्यधिक समय लग गया। इसमें सीआरटी की अपेक्षा टीवी का प्रदर्शन फ्लैट होता है। प्लाज्मा टीवी आते ही भारत में बहुत चलीं थी बाद में इनकी जगह एलसीडी और एलईडी टीवी ने ले ली।
3.एलसीडी टीवी
एलसीडी का फुल फॉर्म लिक्विड क्रिस्टल डिस्प्ले है। इसमें लिक्विड क्रिस्टल डिस्प्ले तकनीक का इस्तेमाल करके इमेज को बनाया जाता है। एलसीडी टीवी समान डिस्प्ले आकार के कैथोड रे ट्यूब की तुलना में बहुत पतले और हल्के होते हैं।
4. एलईडी टीवी
एलईडी का फुल फॉर्म प्रकाश उत्सर्जक डायोड है। इसमें एक कार्बनिक मिश्रण होता है जो बिजली के जवाब में प्रकाश उत्सर्जित करता है। जो की चित्र के रूप में हमें टी पर दिखता है। एलईडी टीवी आज के ज़माने की नई तकनीक पर निर्भर है और यह लोगों के बीच काफी लोकप्रिय हो रही है।
5. ओएलईडी टीवी
ओएलईडी का फुल फॉर्म जैविक प्रकाश उत्सर्जक डायोड है। यह एलईडी का ही एक प्रकार है। इसमें उत्सर्जक इलेक्ट्रोल्यूमिनसेंट परत होती है जो की इलेक्ट्रिक करंट को लाइट में परिवर्तित कर टीवी की स्क्रीन पर दिखाती है। टीवी की स्क्रीन की अतिरिक्त इस तकनीक का इस्तेमाल कंप्यूटर मॉनिटर और मोबाइल की स्क्रीन पर भी किया जाता है।
टेलीविजन से जुड़े कुछ और रोचक तथ्य –
- भारत में टेलीविज़न की शुरुआत 15 सितंबर 1959 को दिल्ली में हुई थी।
- घर में टेलीविज़न का प्रयोग भारत में सर्वप्रथम कलकत्ता की नियोगी परिवार में किया गया था।
- टेलीविज़न के आविष्कारक फिलो टी फ़ार्न्सवर्थ ने अपने खुदके ही बच्चों को टीवी देखने पर रोक लगा दी थी। उनका बच्चों से कहना था की इसमें कुछ भी सार्थक और आपके देखने लायक नहीं है।
- सन 1982 में सोनी ने पहला पॉकेट साइज का टीवी बनाया था। इस टीवी का डिस्प्ले स्क्रीन मात्र 5 सेंटीमीटर का था।
- आज के समय में टीवी के बड़े साइज को बेहतर माना जाता है इसी डिमांड को देखते हुए पैनासोनिक ने वर्ष 2012 में 157 इंच का टीवी बना दिया। बता दें की इसकी कीमत 600,000 यूरो (लगभग 5,44,48,615.80 रूपए) है।
- औसतन एक इंसान अपनी जिंदगी के 10 साल टीवी देखते हुए बिता देता है।
- अब तक सैमसंग के 427 मिलियन से भी ज्यादा टीवी सेट दुनिया भर में बेचे जा चुके हैं।
आप ने क्या सिखा
आज की इस आर्टिकल में आप ने सिखा की टेलीविजन का आविष्कार किसने किया और टेलीविजन क्या है ? अगर आप को हमारा यह ब्लॉग पसंद आया होगा तो आप हमारे ब्लॉग Hindi Top को फॉलो कर ले हम ऐसी जानकरी लेकर आते रहते है